नगर निगम में आउट सोर्सिंग पर लगे सैकड़ो कर्मचारियों ने तीन माह से वेतन न मिलने से नाराज होकर एडिश्नल कमिश्नर का घेराव किया और जमकर नारेबाजी की। कर्मचारियों ने वित्त विभाग के अधिकारियों पर जानबूझ कर शोषण करने का आरोप लगाया। वित्त विभाग इन दिनों भ्रष्टाचार का अड्‌डा बन गया है। बदनाम पूरा नगर निगम और उनके कर्मचारी हो रहे हैं। बिना काम किए ही ठेकेदार को 50 करोड़ का भुगतान कर दिया जाता है लेकिन आउटसोर्सिंग पर लगे कर्मचारियों को काम करने के बाद भी तीन तीन माह तक वेतन नहीं दिया जाता। ऐसे में इन कर्मचारियों का घर कैसे चलेगा।

आउटसोर्सिंग कर्मचारी यूनियन के प्रधान रंजीत शुक्ला ने बताया कि नगर निगम के तीनों जोन में करीब 600 कर्मचारी आउटसोर्सिंग पर लगे हैं। अलग अलग ब्रांचों में अपना काम बखूबी कर रहे हैं। लेकिन उन्‍हें  समय पर वेतन नहीं दिया जा रहा। शुक्रवार को कर्मचारियों ने लामबंद होकर निगम मुख्यालय पर एकत्र हुए और एडिश्नल कमिश्नर अभिषेक मीणा का घेराव कर जमकर नारेबाजी की। कर्मचारियों का यह भी आरोप है कि अकाउंट ब्रांच के अधिकारी जानबूझ कर एजेंसी को कर्मचारियों के वेतन का पैसा रिलीज नहीं करते। कर्मचारियों ने चेतावनी देते हुए कहा कि यदि उनका तीन माह का बकाया जल्द भुगतान नहीं किया गया तो अकाउंट ब्रांच में ताला जड़ देंगे। इसकी जिम्मेदारी निगम प्रशासन की होगी।